आप हस्बैंड वाइफ ग्रुप सेक्स की कहानी पढ़ने जा रहे हैं. मेरी बीवी ने मेरे दोस्त से चुदवा कर मुझे फोन पर बताया. फिर एक दिन मैंने उसे ग्रुप सेक्स के लिए कहा तो …
मेरी सेक्स स्टोरी में गहरी दिलचस्पी रखने वाले मेरे प्रिय दोस्तो!
जरूर पढ़ी होगी।
मैं आज आपको सभी को अपनी स्वीट चुदैल बीवी नीना की एक खास नॉनवेज दास्तान बताने जा रहा हूं।
चुदाई सचमुच एक ऐसा गजब का नशा है, जिसे यह लत लग जाये, वह छुड़ाए नहीं छूटती।
मेरी नीना साथ भी कुछ ऐसा ही सीन है।
दरअसल यह हस्बैंड वाइफ ग्रुप सेक्स उन दिनों का है जब नीना डार्लिंग मेरे दोस्त हर्ष को अपना हम बिस्तर बॉयफ्रेंड बना चुकी थी।
अभी कुछ महीने पहले ही तो वह उसको पहली बार अपनी टांग के नीचे लाने में कामयाब हुई।
जिसके चलते नीना की खुशी का ठिकाना नहीं रहा।
उन दिनों मैं शहर से बाहर किसी काम से गया हुआ था, तब ग्रैंड चुदाई के इस नए रिश्ते की सूचना मेरी नीना ने मुझे फोन पर दी थी।
सच कहूं तो नीना डार्लिंग की इस बार चूत चुदाई की खबर मिलते ही मेरा दिल खुशी से झूम उठा था।
मैं खुश और मेरी नीना भी खुश।
बहरहाल आई गई बात हो गई क्योंकि चुदाई तो हम लोगों के लिए सामान्य सी बात है।
मैं वापस आया तो अपनी नीना के प्ले ग्राउंड के दर्शन करने को उतावला हो उठा।
वैसे भी दोस्तो, सच तो यह है कि मेरी नीना जब कभी किसी गैर मर्द का लौड़ा अपनी चूत में लेती है तो बिना देर लगाए वह मुझे तुरन्त बताती है।
अब आते हैं सीधी बात पर!
जब एक रात जब हम दोनों सामान्य चुदाई कर रहे थे तो नीना ने उदास होकर कहा- डार्लिंग तुम्हें याद है ना … हम लोग अपने कस्बे में रहते हुए अमित को जितना इंजॉय कर सकते थे, उतना नहीं किया।
थोड़ा रुकते हुए नीना बोलने लगी- पूरे 5 साल में मुश्किल से 20 बार, यह भी कोई बात हुई! अब किस्मत से हर्ष मिला है तो भरपूर मस्ती लिए बिना उसे छोड़ना ठीक नहीं होगा।
नीना की इस बात पर मुझे मन ही मन हंसी आ गई और मैंने उसे छेड़ने को सोचा।
इस बात पर थोड़ा नाटकीय अंदाज में मैंने कहा- मैंने तुम्हें रोका है क्या, उसके साथ चुदाई के लिए?
“अरे ना भाई, तुम भी कैसी बात करते हो?” नीना थोड़ा इरिटेट हुई।
फिर अपनी चूचियों को मेरे सीने से सटाकर दबाव बढ़ाया।
लगे हाथ एक पक्की छिनार औरत की तरह तिरछी नजर से देखते हुए मुस्कुराने लगी।
मैंने पूछा- क्या हुआ … बोलो ना खुलकर? कुछ छुपा रही हो?
अब तक नीना बात समझ चुकी थी और यही सटीक टाइम था जब वह मेरे दिल पर हथोड़ा मार कर अपनी बात मनवा सकती थी।
लिहाजा उसने मेरे होठों पर एक गहरी पप्पी जड़ दी और मेरे सीने से बुरी तरह लिपट गई।
फिर बोली- बताऊं … बताऊं … क्या है न … कि मैं न … मैं चाहती हूं कि हर्ष के साथ कल सुबह तुम भी रहो। एक बार खुल गए हम लोग उसके साथ तो हमेशा के लिए मजा आ जाएगा।
“ओहो … तो मेरी मैडम दोनों को एक साथ देना चाहती हैं अपना खजाना! वाउ, ग्रेट, वेरी गुड… चलो फिर शुरू कर देते हैं अपना खेल। लेकिन क्या खास प्लान कर रखा है? कल का कुछ शेड्यूल है क्या मैम?”
इसी बात पर मैंने ठहाका लगाकर हंसते हुए अपने खास अंदाज में जोरदार तरीके से आंख मारी और नीना को अपनी बांहों में भर लिया।
“हां जी जनाब, बिल्कुल … तभी तो बोल रही हूं। नहीं भला मुंह क्यों खोलती?” नीना चहकते हुए बोली।
तब मैंने काउंटर अटैक करते हुए कहा- अच्छा, तो चलो बताओ फटाफट कल का प्लान?
अब मेरी नीना सरपट एक सांस में बोलने लगी- कल सुबह बच्चे जैसे ही स्कूल जाएं, तुम मेडिकल स्टोर से डॉटेड कंडोम का एक पैकेट लाओगे, क्योंकि पुराना पैकेट ख़त्म हो चुका है, वह भी चॉकलेट फ्लेवर का। स्टॉक में रहे, बस!
नीना लगातार बोलती रही- तब तक हम लोग हल्का नाश्ता कर लेंगे। मैंने टाइम फिक्स कर रखा है हर्ष से, वह यहां ठीक नौ बजे पहुंचेगा। तुम नाश्ता करके एक बार मार्केट चले जाना आधे घंटे के लिए करीब पौने नौ पर।
मैं हां में गर्दन हिलाये जा रहा था और नीना आगे बढ़ चली- फिर वापस आकर कॉलबेल तुरंत बजा देना। क्योंकि तब तक हम दोनों कपड़े निकाल कर अपना खेल शुरू कर चुके होंगे।
मैंने पूछा- और आगे?
फिर नीना ने मुंह बनाते हुए चूचियां उचका कर कहा- यार, तुम बुद्धू ही हो क्या? पति दरवाजे पर कॉल बेल बजाए और वाइफ अधनंगी ही डोर खोलने दौड़ जाय। सामने बॉयफ्रेंड बेड में नंगा लेटा हो तो कुछ राज बाकी बचता है क्या?
नीना लगातार भाषण पेले जा रही थी- पूरी कहानी खुली किताब होगी तब। मैं तुम्हें स्माइल के साथ उसके पास लाऊंगी। पहले वह थोड़ा घबरा आएगा। फिर तुम प्यार से मेरी मुस्कुराहट में मुस्कुराहट मिला दोगे। बस हम दोनों ही मुस्कुराहट में चिपक जाएंगे।
मैंने पूछा- फिर?
नीना का प्रवचन जारी रहा- फिर हम अपने बीच में इस हर्ष नाम के प्यारे से प्यार को भी मिला लेंगे। हो गई नई कहानी शुरू और बन गया हम तीनों के लिए चुदाई का मस्त प्लेटफार्म। इस तरह हमेशा चलता रहेगा हमारा खेल … करेक्ट? समझ गए या समझाऊं बेलन उठाकर?
हम दोनों के बीच इस बात पर ओके डन होने के बाद चुदाई हुई और रात बीत गई।
अब शुरू होती है अगली सुबह।
तय शेड्यूल के मुताबिक बच्चों के स्कूल जाते ही मैं नीना की स्माइल लेकर उसकी ख्वाहिश पूरी करने मार्केट चल पड़ा।
इधर करीब आधे घंटे बाद वापस आकर कॉलबेल दबाया तो कुछ ही पलों में डोर खुला- कौन?
पूछने पर जवाब दिया- कौन हो सकता है?
साक्षात रति खड़ी थी हंसी ठहाके से सराबोर नीना के रूप में महज एक तौलिया लपेटे हुए।
तुरंत ही दरवाजा लॉक कर वह मुझे बेडरूम की ओर ले चली।
“चलो मिलाती हूं तुमको अपनी लवली सी चीज से!” नीना के इस सस्पेंस सरप्राइज पर मैं अनजान सा बनकर पूछा- लवली सी चीज?
सामने पड़े बेड पर चादर ओढ़े हुए हर्ष को एक झटके में नीना ने मुझसे रूबरू करा दिया, वह भी बिल्कुल न्यूड।
“वाह …” मेरे मुंह से सहसा निकल पड़ा।
अपराधी की तरह हर्ष मिमियाते हुए बोला- भैया, भाभी ने ही मुझे आगे बढ़ाया है। मैं तो आपके लिए हमेशा लायल रहा।
“डोंट वरी यार … वी आर जस्ट एंजोईंग लाईफ! कम ऑन … मूव फारवर्ड!” मेरे इन चंद अल्फ़ाज़ से हर्ष के चेहरे की रंगत बदल गई।
पाठकों को बता दूं, नीना पहले ही हर्ष को बता चुकी थी कि वह मेरे साथ किसी दोस्त को लेकर थ्री सम का खेल एंजॉय कर चुकी है। जिससे वह आसानी के साथ मुझसे नार्मल हो सका।
फिर भी माहौल को नार्मल बनाने के लिए मैंने नीना को पीछे से अपनी बांहों भर लिया और उसकी 36″+ साइज़ वाली बिंदास चूचियां मसलने लगा, जिससे वह सिसकारी मारने लगी।
तब तक हर्ष उठकर वॉशरूम की ओर जाने लगा तो मेरी चुदासी बीवी नीना कड़क आवाज़ में दहाड़ मारी- किधर? चल इधर!
मेरी इंट्री से बेचारे हर्ष का लंड सिकुड़ कर लुल्ली बन चुका था।
नीना आगे बढ़कर उसका लंड सहलाने लगी।
थोड़ी ही देर में उसका लौड़ा अकड़ कर मेरे बराबर ही 6″ का दिखने लगा।
नीना आगे से हर्ष का लंड अप डाउन करने में जुट गई तो पीछे से वह अपनी चूचियां मेरे हवाले कर चुकी थी।
मगर मेरे बदन पर कपड़े उसे बुरी तरह इरिटेट कर रहे थे।
लिहाजा झल्लाती हुई नीना ने पहले मेरे टीशर्ट को निकाल फेंका, फिर बनियान और अंत में लोवर को सरका दी।
यह देखकर मैं मुस्कुराने लगा।
अब वह गुस्से का नाटक करने लगी थी और बोली- तुम्हारा लंड पाने के लिए अंडर वियर भी मुझे ही हटाना होगा या कुछ तुम भी करोगे?
बिना देर लगाए मैम के हुक्म की तामील हुई और एक ही झटके में मेरा कड़क लंड उनकी नज़रों के सामने था।
अब नीना ने एक हाथ से मेरा लंड पकड़ा और दूसरे से हर्ष का। साथ ही हम दोनों को घसीटते हुए वॉशरूम की ओर बढ़ चली।
कई जन्मों से लंड की भूखी नीना ने वॉशरूम में हम दोनों के लौड़े को बारी बारी से शैंपू सोप से खूब मस्ती लेकर साफ सफाई की।
इस बीच लॉलीपॉप की तरह एंजॉय भी किया।
फिर अंत में टॉवल से सुखाकर टेलकम पाउडर और परफ्यूम से अपने लिए पसंदीदा चुदाई का शानदार माहौल बनाया।
जब हम सभी वाशरूम से निकलने को हुए तो हर्ष ने नीना को रोक लिया और बोला- भाई साहब, भाभी ने हम दोनों को तो चमका दिया और हम लोग यूं ही चल दें? यह तो नाइंसाफी होगी।
“क्या चाहता है? साफ साफ बोल!” नीना आधे गाल से मुस्कुराई।
तो हर्ष अपनी नीना भाभी की चूचियों पर बड़े प्यार से हाथ फेरा और बोला- मुझे इनकी सफाई तो कर लेने दो भाभी!
“चल कर ले अपनी वाली! साला भैया को दिखाना चाहता है अपने फोरप्ले का अंदाज!” नीना ने मेरे लौड़े पर एक झप्पी देते हुए मुझे आंख मारी।
अब हर्ष का चेहरा खुशी से चहकने लगा और खड़ी नीना की चूचियों पर वह अपनी नाक रगड़ने लगा।
फिर तपाक से बैठकर उसकी चूत की सुरंग में खेलते हुए उंगली पेलने लगा।
जिससे नीना चिहुंक उठी और चिल्लाकर बोली- कुत्ते, बेड में चल। वहां जी में जो आए, कर लेना।
ज्यादा टाइम तो था नहीं। लिहाजा हर्ष ने फटाफट जी पॉइंट पर अपनी जुबान फेरी और फिर शैंपू सोप से मैम के सेंट्रल ज़ोन की सफाई की।
अब बारी थी बूब्स और अंडर आर्म्स के साफ सफाई की।
सचमुच निप्पल से लेकर चूचियों तक की सफाई उसने जिस डिसेंट अंदाज में किया, उसे देखकर मेरी तबीयत खुश हो गई।
फिर तौलिये से बदन को सुखाने के बाद उसने टेलकम पावडर और परफ्यूम का इस्तेमाल किया, जिससे मैडम की बॉडी सूंघते वक्त लाजवाब खुश्बू ने मेरे मिजाज को गर्म कर दिया।
इस तरह हर्ष ने मेरी जानेमन नीना को थ्रीसम के सेट पर गचागच चोदने के लिए जन्नत की हूर बना डाला।
अब शुरू होता है बेड गेम यानी शानदार चुदाई का असली खेल!
नीना ने मेरी पीठ के पीछे तीन तकिए लगा दिए और मेरी गर्दन को काफी हद तक बैठा जैसा कर दिया, जिससे जब वह मेरे लंड की सवारी करे तो मुझे पेलते वक्त अपनी चूची भी पिलाती रहे।
मगर शायद उसके ठीक पहले हर्ष का फोरप्ले इंजॉय करने के लिए वह मेरे सीने पर अपना सिर रखकर तिरछे होकर लेट गई।
हर्ष ने अभी फोरप्ले शुरू ही तो किया था, जिससे थोड़ी देर बाद में नीना की जवानी बुरी तरह से उबलने लगी।
नीना ने शुरू में अपनी एक चूची मुझे दिया था और दूसरी हर्ष को।
हम तीनों का खेल चलता रहा।
नीना कभी मेरे लौड़े से खेलती तो कभी हर्ष के!
मैं तो नीना की एक चूची पर फोकस था, लेकिन हर्ष का मैम की पूरी बॉडी पर।
इस बीच अंगूठे और उसके बगल वाली उंगली से हर्ष ने मेरी चुदासी बीवी नीना की चूत के जी पॉइंट पर मसाज करना शुरू कर दिया।
फिर थोड़ी देर बाद उसने मैम की बाईं चूची के निप्पल को अपने दांतों के बीच फंसाकर ऐसा खेल किया कि थोड़ी ही देर में उसने नीना की जवानी को पानी पानी कर डाला।
फिलहाल हर्ष का लंड मेरी नीना रानी के चूतड़ को रगड़ मारने में बुरी तरह से जुटा हुआ था।
लिहाजा अब नीना आपे से बाहर होने लगी।
उसने कहां सोचा था कि वह मेरे लंड पर सवार होकर मेरा एहसान चुकाएगी।
मगर हर्ष की कलाबाजी ने उसकी चूत में ऐसी गजब खुजली लगाई कि अब उसे खुजली मिटाना ज्यादा जरूरी हो गया।
तब तक नीना की चूत में गंगा जमुना की बाढ़ सी आ गई थी।
इस बीच मेरा एक हाथ चूत तक पहुंचा था, जिससे मेरी कई उंगलियां गीली हो गईं।
मदहोशी में अब मेरी नंगी बीवी की जुबान लड़खड़ाने लगी थी।
तभी वो मुझसे बोली- माफ़ करना मुझे डार्लिंग। मुझे इस गधे ने इतना गर्म कर दिया कि अब जैसे हूं, बस उसी पोजिशन में चूत की ठुकाई चाहती हूं। बस तुम मेरी चूचियों का भुर्ता बना डालो।
मेरी नीना की आंखें बंद सी होने लगी और अब तक तो वह बेचारी बन चुकी थी।
इसके साथ ही वह चिल्लाई- चल रे, कहां गया? डाल दे साले … तड़प रही हूं मैं!
हर्ष अपने लौड़े को कंडोम से लैस कर तब तक नीना की चूत पर अपना मोर्चा संभाल लिया।
नीना भी एक कदम आगे बढ़ाते हुए अपने फेवरेट पोज पर आ गई।
उसकी टांगें हर्ष के कंधे पर थीं और चूत के भीतर लंड सौ फीसदी।
इस तरह अब शुरू हो गया दे गचागच… ले गचाक!
“आह … ऊऊऊऊह … इह … हाय री हाय … वाह वाह … स … अए …ए… पेल दे री दईया…” जैसी नीना की आवाज़ तो पूरे कमरे में गूंजने लगी।
हर्ष और मैं दोनों ही एक दूसरे को देखकर आपस में मुस्कुरा उठे या कहो ये पल सच में सरप्राइज थे हम दोनों के लिए।
इस सुखद माहौल में मेरे दोनों हाथ नीना की चूचियों से खेल रहे थे तो हर्ष के दोनों हाथ उसकी दोनों टांगों को उठाकर चुदाई में लगे हुए थे और नीना के हाथ हर्ष की कमर पर ग्रिप बनाए हुए थे।
अपने कंधे पर नीना की टांग रखे हर्ष हुए करीब 20 मिनट तक बहुतेरे पोज में पेलता रहा। प्रशांत की चक्की स्टाईल में भी चोदा।
आखिर हर्ष की इन्हीं अदाओं पर तो नीना उसकी दीवानी है।
इस तरह थ्रीसम सेलिब्रेशन की मस्ती में आकर मेरी नीना रानी भी उछलकूद कर उसका लंड खाती रही।
अगर पतिदेव चूचियां मसल रहे हों और मैडम से उम्र में पांच साल छोटा गबरू जवान चूत में ठेलमठेल मचाए हो तो लंड की भूखी हुई इस लेडी को भला अब क्या चाहिए।
तभी तो नीना जन्नत की सैर पर निकल पड़ी थी।
वह सच में अपने आप को बहुत ही खुशनसीब मानती है क्योंकि मैंने आज तक उसकी कोई बात कभी नहीं टाली। बल्कि हमेशा ही उसे बिंदास लौड़ा लेने में अपनी खुशी जताई है।
नवम्बर का महीना था, फिर भी गच्चम गच्च लंड चूत के इस खेल में मेरी नीना और हर्ष पसीने पसीने हो गए, मगर नीना कुछ कम।
हम तीनों एक साथ पहली बार सेक्स कर रहे थे, लिहाजा हर्ष लंड चूत की टक्कर में बहुत खुलकर अनाप शनाप नहीं बोल रहा था।
मगर नीना तो ठहरी पुरानी लंड खोर, उसकी जबान फिरकी के माफिक तेज स्पीड में दौड़ रही थी।
अंत में बदन की भरपूर अकड़न के साथ हर्ष की एक जोरदार सेक्सी आवाज़ आई। वह भर्राई हुई आवाज़ में बोला- ले नीना भाभी मेरे लौड़े का सलाम … तेरी चूत में ये गया, मेरा पूरा माल पानी।
और वह हंसने लगा।
इसी हंसी खुशी के माहौल में मैं अपने गाल को नीना के गाल से सटाकर चूचियों को ज्यादा दबाव से मसलने लगा।
सच में यह एक ऐसा ओरिजनल सेक्स शॉट रहा, जो किसी अच्छी से अच्छी ब्ल्यु फिल्म में भी मुश्किल से ही देखने को मिल सकता है।
इस तरह जब हर्ष झड़ा, तो मेरी नीना ने कसकर उसकी कमर को अपनी ओर खींच लिया।
कुछ मिनट तक नीना लंड को अपनी चूत से चिपकाए रखी,
लेकिन लंड सिकुड़ने लगा तो नीना मेरी ओर पलटी और हर्ष वाशरूम की ओर चला गया।
हर्ष अपने लौड़े का पानी अब तक तो मेरी जान नीना की चूत में उड़ेल चुका था।
पर माल मसाला कंडोम के भीतर ही रह गया, जिससे चूत पूरी तरह साफ थी।
साथ ही बता दूं, मेरी नीना एक बार फिर से अकड़ उठी।
वजह … यह महज शुरुआत रही क्योंकि उसे तो अब अगले राउंड की दरकार थी।
इधर मेरा लंड आखिरकार उसकी चूत में घुसने के लिए कब से बेताब था जो बार बार उसके चूतड़ पर रगड़ खा रहा था।
मेरी यह चाहत नीना समझ गई।
और … अब नया सेट।
मेरी नीना ने बेड पर पड़े कंडोम के पैकेट से एक पीस निकाला और मेरे लौड़े को युद्ध के मैदान में कूदने के लिए तैयार कर दिया।
साथ ही मेरे ऊपर पूरी तरह से छा गई और बिना देर लगाए मेरे लंड की जड़ तक चूत की दीवारों से घेराबंदी कर दी।
अब तक मेरे दोनों हाथों की उंगलियां उसके दोनों हाथों की उंगलियों के कैद में थीं और मर्द की तरह उसने मुझे डेड स्लो मोशन में चोदना शुरू कर दिया।
तब तक हर्ष भी वाशरूम से आ गया और यह पोजीशन देख कर खुशी से चिल्लाया- वाह भाभी वाह … क्या कमाल हो गया! बहुत खूब!
बीच में मैंने टोका तो नीना बोली- तुम अच्छी तरह से अपनी वाइफ को चोदो बस। बाकी मैं इसे देखती हूं।
इसके साथ ही वह खिल खिलाकर हंसने लगी।
अब हर्ष मसाज बॉय के रोल में आ गया। नीना के चूतड़, गांड़ और चूत के इलाके में हर्ष के हाथ ड्यूटी देने लगे।
गोल मटोल मोटे हिप्स पर हर्ष की थप्पी नीना को उत्तेजित करने लगी।
जैसे ही हर्ष हिप्स पर थपकी मारता तो उछल कर वह मेरे लंड पर झटका लगाती।
इसी तरह वह कभी नीना की गांड में फिंगरिंग की नाकाम कोशिश करता तो कभी चूत की फांकों पर उंगली फेरते हुए चिकोटी मारता।
नीना बार बार कहती रही- नो डियर नो, प्लीज़ नो!
लेकिन हर्ष वह सब कुछ करता रहा, जिससे नीना की अपनी मस्ती सातवें आसमान पर जा रही थी।
हर्ष हर दो मिनट बाद नीना के हिप्स पर चीकोटी काटता और नीना आटोमेटिकली मेरे लंड पर एक जोरदार धक्का देने को मजबूर हो जाती।
ऐसे ही जब नीना मेरे लन्ड पर अपनी चूत का दबाव बना रही होती थी तो धीरे से हर्ष चूत में उंगली ठेल देता जिससे वह उछलकर मेरे लन्ड पर गचागच दो तीन शॉट्स लगा देती।
इस बीच हर्ष की एक साइड की चूची का निप्पल बाहर की ओर झांकता सा दिखा।
बस उसने चुटकी का कमाल करना शुरू कर दिया।
अब तो नीना की हंसी नहीं रुक रही थी और वह मेरे लन्ड को घुमा घुमा कर पेलने लगी।
नीना की सेक्सी हंसी के बीच मेरे लौड़े की यह सेवा किसी मेवा से कम न थी, जो हर्ष के वजह से मिली।
अब नीना शायद लंड बदलना चाह रही थी। दूसरे वह काफी गर्म थी।
लिहाजा उसने स्पीड बढ़ा दी और अपनी तूफान एक्सप्रेस प्लेटफार्म जा ठहरी।
इस तरह नीना ने मुझे भी झड़वा दिया और खुद भी झड़ी।
उसने करीब आधे घंटे तक मेरे लौड़े की खिदमत की।
मगर नीना की रेलगाड़ी तीसरे राउंड के लिए माइंड सेट कर चुकी थी। नीना ने फटाफट हाफ टॉवल से मेरे लौड़े की सफाई की तो हर्ष ने चूत को फिर से चुदने लायक तैयार किया।
सेम पोजिशन में नीना ने अपने हिप्स को ऐसा एंगल दिया, जिससे एक तरफ लेटे लेटे मैं नीना की मस्त चूचियां सहलाता, मसलता या पीता रहूं तो दूसरी ओर डॉगी बनकर हर्ष आज अंतिम बार उनकी चूत का पानी निकाले।
बस यूं ही मैम ने बड़े प्यार से डॉगी बनकर आगे की दो टांगों यानि हाथों को मेरे चेहरे के पास टिका दिया, जिससे मैं लटके हुए दशहरी आमों को चूसता रहूं।
साथ ही पीछे से उनका कुत्ता हर्ष चूत में अपना लन्ड ठोकता रहे।
चूत चोदने के लिए सेट सजा … मगर कुत्ते ने मैडम की घंटे भर से चुद रही चूत और गांड को चाटना शुरू कर दिया।
हालांकि नीना को यह भी बहुत रास आया और वे बहुत सिसियाते हुए हर्ष की जीभ का मज़ा लूटने लगी।
चूत पर जब भी टीथ और टंग का हमला होता तो वे मुझे तुरंत ही बिना देर लगाए लीप लॉक किस कर लेती।
करीब दस मिनट बाद जब नीना को चूत में लंड पाने के लिए खलबली मच उठी तो वे हर्ष से गिड़गिड़ाते हुए रोने लगी- बस कर, अब मत सता मुझे। ठोक दे अपना लौड़ा मेरी प्यासी चूत में … प्लीज़ मेरे यार, प्लीज़!
हर्ष समझ गया कि यही वक्त है, जब नीना उसकी असली दीवानी बन जाएगी और वही हुआ.
क्योंकि हर्ष कुत्ते की तरह चूत पर टूट पड़ा।
आगे से मैं नीना रानी को गर्म कर रहा था तो पीछे से हर्ष मेरी मैडम की चूत में लगी हुई आग बुझाने में जुट गया।
करीब 15 मिनट के गपागप में नीना ‘वाह वाह’ करने लगी।
दोनों ही एक साथ झड़ गए तो नीना फिर से मेरे ऊपर बेदम होकर लेट गई।
फिर हर्ष चुपचाप उठकर वाशरूम गया।
करीब 10 मिनट बाद वो किचन से हाथ में कड़क चाय का ट्रे लेकर हाज़िर हुआ तो मेरी नीना के चेहरे पर खुशी भरी मुस्कान बिखरी हुई थी।
नीना की मुस्कान के जवाब में हर्ष बोला- तो नीना भाभी, हो जाय एक सेक्स टी पार्टी?
“यस, कम ऑन बेबी!” नीना खास अदा बिखेरते हुए बोली तो मैंने भी नीना के गाल पर एक किस जड़ दिया- माय स्वीट!
घड़ी की सुई 11 बजा रही थी।
तब हमारी उस दिन की यादगार सेक्स टी पार्टी एंड हुई, जो महफ़िल बाद में भी अक्सर लग जाती रही।
आखिर में अब चलते चलते एक बात और बता दूं दोस्तो …
मेरी नीना की चूचियां साइज़ में बड़ी भले ही हो गई हों, मगर कभी महज 34″ थीं तो उससे पहले 32″ कप साइज़ की भी हुआ करती थीं मेरी अपनी ही आंखों के सामने।
ये तो भला हो, अमित या प्रशांत जैसे प्यारे दोस्तों के गदह लंडों का, जिनकी वजह से मेरी जान नीना की चूत को चोदकर इतना पानी निकाला कि उनकी चूचियां खेलने लायक बड़ी बड़ी हो गईं।
मेरी ग्रैंड लेडी नीना उन लोगों का आज तक शुक्रगुजार है।
साथ ही मैं भी … क्योंकि उनके चलते ही हमें बड़ी चूचियों का लुत्फ तोहफा मिला।
आप दोस्तों को मेरी स्वीट वाइफ नीना की चूत का सैल्यूट। आप यह जरूर बताएं कि नीना के चुदाई की सच्ची कहानी आपको कैसी लगी?
अगर आप सटीक टिप्पणी करेंगे तो मुझमें अगली कहानी लिखने का उत्साह होगा।
आशा है, आप सभी अपना दिल ही नहीं, बल्कि बिल भी यानि छेद भी खोलकर इस हस्बैंड वाइफ ग्रुप सेक्स कहानी का स्वागत करेंगे।
याद रहे, छेद चाहे चूत का हो या फिर लौड़े का, दोनों ही छेद कहे जाते हैं।
शुभकामनाओं सहित आपका अपना दोस्त रितेश शांडिल्य
beenaritesh85@gmail.com